
अमृतसर, 8 सितंबर:पंजाब सरकार की सोमवार को हुई कैबिनेट मीटिंग में सीएम भगवंत मान अस्पताल से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए शामिल हुए। करीब 2 घंटे चली बैठक में सीएम ने फैसला लिया कि बाढ़ प्रभावित फसलों के लिए किसानों को प्रति एकड़ 20 हजार रुपए मुआवजा दिया ।इसके अलावा बाढ़ से जान गंवाने वाले व्यक्ति के परिवार को 4 लाख रुपए की सहायता राशि देने की भी घोषणा की गई। सीएम मान ने इसे किसी भी राज्य सरकार की ओर से दिया जाने वाला सबसे अधिक मुआवजा बताया।
वीडियो संदेश में सीएम ने कहा
मैं धीरे-धीरे ठीक हो रहा हूं। जैसे ही छुट्टी मिलेगी, मैं आपके बीच आऊंगा। मैं लोगों के बिना नहीं रह सकता। आपके दर्द के सामने मेरा दर्द बहुत छोटा है। आपकी चुनी सरकार हर वक्त आपके साथ खड़ी है। “
अस्पताल के कमरे में ली अधिकारियों की मीटिंग

मुख्यमंत्री भगवंत मान ने कैबिनेट बैठक के बाद वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से कहा, “मैं इस समय अस्पताल भर्ती हूं। बीमार कोई भी हो सकता है। मैं भी इंसान हूं। दिन-प्रतिदिन मेरी तबीयत में सुधार हो रहा है। मैं अस्पताल के कमरे से ही हर समय पंजाबियों की चिंता करता हूं। मैंने यहां मुख्य सचिव और डीजीपी को बुलाकर बाढ़ से हुए नुकसान को लेकर बैठक की है। कुछ अहम फैसले लिए गए हैं।”
सीएम मान ने ये फैसले लिए
जमीन से रेत / मिट्टी हटाने की अनुमति: बाढ़ से मिट्टी और रेत नदियों में भर गई है, जिससे कई नदियों की चौड़ाई कम हो गई है। सरकार ” जिसकी जमीन, उसकी रेत ” नीति लेकर आ रही है। किसान अपनी जमीन से रेत / मिट्टी निकाल सकेंगे और चाहें तो उसे बेच भी सकते हैं। उन्होंने कहा कि ब्यास नदी पहले बहुत चौड़ी होती थी, लेकिन अब छोटी हो गई। 31 दिसंबर तक किसान रेत या मिट्टी उठा पाएंगे। उसे किसी तरह का परमिट नहीं लेना पड़ेगा।फसल का मुआवजा: फसल की बर्बादी के लिए प्रति एकड़ 20 हजार रुपए का मुआवजा दिया जाएगा। यह अब तक किसी भी राज्य सरकार की तरफ से दिया गया सबसे अधिक मुआवजा है। मुआवजे के चेक सीधे किसानों के हाथों में दिए जाएंगे। उन्होंने कहा कि बाढ़ में जान गंवाने वाले प्रत्येक व्यक्ति के परिवार को 4 लाख रुपए की सहायता दी जाएगी। मुख्यमंत्री मान ने कहा कि जिन परिवारों के घर बर्बाद हो गए हैं, या पानी में बह गए हैं, उनका सर्वे करवाया जाएगा। नुकसान का आकलन होते ही सरकार वित्तीय सहायता देगी।
बाढ़ प्रभावित लोगों को कर्ज की किस्तों में राहत
कैबिनेट मीटिंग में फैसला लिया गया कि बाढ़ प्रभावित लोगों को कर्ज की किश्त चुकाने में 6 महीने की छूट दी गई है। इस अवधि में उन्हें किस्त नहीं देनी होगी। उन्हें ब्याज में भी छूट दी जाएगी। मीटिंग में निर्णय लिया गया कि बड़ी संख्या में पशु और मछली पालन से जुड़े लोगों का नुकसान हुआ है।सरकार इसकी भरपाई करेगी। साथ ही, पशुओं के लिए विशेष टीकाकरण अभियान चलाया जाएगा। बाढ़ के बाद बीमारियों से बचाव के लिए लगभग 1700 गांवों और 300 शहरी क्षेत्रों में फॉगिंग मशीनें लगाई जाएंगी। हर गांव में क्लिनिक लगाकर डॉक्टरों की टीम भेजी जाएगी, ताकि दवाइयां और इलाज लोगों को नजदीक ही उपलब्ध हों। बाढ़ से शिक्षा संस्थानों और बिजली ढांचे को हुए नुकसान की मरम्मत युद्ध स्तर पर की जाएगी।
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