अमृतसर, 11 सितम्बर (राजन): शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के प्रधान गोबिंद सिंह लोंगोवाल ने श्री गुरू ग्रंथ साहिब जी के नाम पर बनी सत्कार कमेटियों और कुछ अन्य लोगों द्वारा 14 सितंबर को गुरूद्वारा श्री मंजी साहिब दीवान हाल में एकत्रता करने की घोषणा और शिरोमणि गुरूद्वारा प्रबंधक कमेटी विरुद्ध किए जा रहे विरोध प्रदर्शनों बारे सख्त प्रतिक्रिया व्यक्त की है। भाई लोंगोवाल ने कहा कि गुरूद्वारा श्री मंजी साहिब दीवान हाल सच्चखंड श्री हरिमंदिर साहिब के साथ संबंधित पावन इतिहासिक अस्थान है और इसकी एक मर्यादा है। यहाँ विरोध प्रदर्शनों की किसी को भी हरगिज इजाजत नहीं है। उन्होने सत्कार कमेटियों को स्वाल किया कि पावन स्वरूपों के संजीदा मामले पर सयासय करने की जगह कौम को यह बताएं कि जो पावन स्वरूप उनके द्वारा अलग-अलग स्थानों से उठाए गए, वह कहाँ है। इसके साथ ही सत्कार कमेटियां निशान साहिब, पालकियाँ, पीड़े, कीमती रुमालों आदि का भी हिसाब संगत के सामने रखें। भाई लोंगोवाल ने श्री अकाल तख्त साहिब के जत्थे. ज्ञानी हरप्रीत सिंह को भी अपील की कि वह श्री गुरू ग्रंथ साहिब जी के नाम पर बनी सत्कार कमेटियों से पावन स्वरूपों का हिसाब लें। इस कार्य के लिए जत्थेदार साहिब एक कमेटी बनाएं जो अब तक सत्कार कमेटियों द्वारा अलग-अलग स्थानों से उठाए पावन स्वरूपों और अन्य सामान का विवरण लेकर सार्वजनिक करे। उन्होने कहा कि पब्लीकेशन विभाग में से श्री गुरू ग्रंथ साहिब जी के जो पावन स्वरूप संगत को देने उपरांत कर्मचारियों द्वारा भेटा कार्यालय में जमा नहीं करवाई गई, उसके साथ संबंधित श्री अकाल तख्त साहिब द्वारा स्थापित जांच कमिशन की रिपोर्ट अनुसार हर दोषी पर कारवाई की गई है। परंतु शिरोमणि कमेटी का सहयोग देने की जगह कुछ लोग जानबूझ कर विरोध की नीति तहत काम कर रहे हैं और मामले को सयासी रंग दे रहे हैं।
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