भारत सरकार को पुणः विचार करने की अपील की
अमृतसर, 4 सितम्बर (राजन) जम्मू कश्मीर भाषा बिल में से पंजाबी को बाहर निकालने का सख्त नोटिस लेते शिरोमणि गुरूद्वारा प्रबंधक कमेटी के प्रधान भाई गोबिंद सिंह लोंंगोवाल ने भारत सरकार को अपील की कि वहह इस संबंध में पुणः विचार करें। उन्होने इस मामले पर पंजाब से चुने गए सांसदों को अपील की है िक वह संसद बिल में इस बिल विरुद्ध आवाज उठाएं और पंजाबी को इसमें शामिल करने के लिए प्रयास करें। भाई लोंगोवाल ने कहा कि जम्मू कश्मीर अंदर पहले पंजाबी भाषा को उपयुक्त स्थान प्राप्त था। पंजाबी भाषा को जम्मू-कश्मीर के संविधान में मान्यता मिली हुई थी। उन्होने कहा कि पूरे जम्मू कश्मीर अंदर लाखों लोग पंजाबी भाषा बोलते हैं जिनको जम्मू कश्मीर भाषा बिल के मौजूदा सरूप कारण ठेस पहुंची है। उन्होने पंजाब के सांसद सदस्यों को इस मामले पर गंभीर रुख अपनाने के लिए कहा। शिरोमणि कमेटी प्रधान ने कहा कि जम्मू कश्मीर अंदर पहले ही सिख कम संख्या वाली सुविधाओं से वंछित चल रहे हैं और उनकी निरंतर मांग है कि उनको भी कमसंख्या वाली सभी सुविधाएं मिलनी चाहिए। अब जम्मू कश्मीर भाषा बिल में से पंजाबी को मनफी करके कम संख्या सिखों के साथ एक बार भी धक्का किया जा रहा है। उन्होने कहा कि सरकार को ऐसा नहीं करना चाहिए और जम्मू कश्मीर के सिखों की भावनाओं की कदर करनी चाहिए।