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प्रॉपर्टी टैक्स विभाग निगम कमिश्नर के आदेशों के बाद कर पाया मात्र 1.58 करोड़ एकत्रित, जबकि लक्ष्य दिया 16.50 करोड़ का 

अमृतसर,3 मई (राजन): नगर निगम कमिश्नर संदीप ऋषि द्वारा प्रॉपर्टी टैक्स विभाग को आदेश जारी किए थे कि साल 2022-23 के वित्त वर्ष में दिए गए टारगेट से 16.50 करोड रुपए टैक्स कम एकत्रित हुआ है, इसे  हर हालत में  30 अप्रैल तक पूरा किया जाए। विभाग के पांचों जोनों के अधिकारियों को निगम कमिश्नर द्वारा चेतावनी भी दी गई थी। इसके बावजूद विभाग द्वारा आज बुधवार  3 मई तक मात्र 1.58 करोड़ रुपया ही टैक्स एकत्रित किया गया है। जबकि विभाग द्वारा डिफाल्टर पार्टियों को 12 हजार से अधिक सीलिंग के नोटिस दिए हुए हैं। इसके अलावा कम टैक्स अदा करने वालों को 112 के नोटिस भी अनगिनत दिए हुए हैं। किंतु इनसे बनता  प्रॉपर्टी टैक्स ठीक ढंग से वसूल नहीं किया गया है।

यहां यहां आ रही है कमी

प्रॉपर्टी टैक्स की डिफाल्टर पार्टियों के विरुद्ध कार्रवाई न करने के लिए पहले राजनीतिक दखलअंदाजी चलती थी। यहां तक विभागीय अधिकारियों द्वारा कहा जा रहा है  आम आदमी पार्टी की सरकार बनने के उपरांत डिफाल्टर पार्टियों के विरुद्ध कार्रवाई करते समय सत्ताधारी सरकार के लीडरों की दखल अंदाजी बहुत ही कम है। इसके बावजूद विभाग के अधिकारी बनता टैक्स एकत्रित नहीं कर पा रहे हैं । वॉल्ड सिटी के भीतर विशेषकर श्री दरबार साहिब के आसपास होटलों, रेस्ट हाउस और अन्य बड़े-बड़े  कमर्शियल अदारो की भरमार है। इन सभी से भारी भरकम प्रॉपर्टी टैक्स बकाया है। यहां तक की विभाग के अधिकारियों ने इनसे संपर्क नहीं साधा हैं। अगर किसी से संपर्क किया है तो कार्रवाई नहीं की। इसी तरह से जीटी रोड, लारेंस रोड, माल रोड , रानी का बाग, रंजीत एवेन्यू के सभी ब्लॉक, शहर के बड़े-बड़े शॉपिंग मॉल, बड़े-बड़े मैरिज रिजॉर्ट, बड़े-बड़े होटलों से भी बनता बकाया टैक्स नहीं वसूल किया जा सका है। कुछ बड़े-बड़े कमर्शियल अदारो की पहले से ही स्क्रूटनी हो चुकी है, उनसे भी बकाया करोड़ों रुपए टैक्स निकलता है। उन पर भी कोई कार्रवाई नहीं हुई है। जिसमें बटाला रोड पर स्थित एक बड़ा शॉपिंग मॉल भी है।

1 महीने सीलिंग अभियान में हुआ ड्रामा

पिछले 1 महीने तक प्रॉपर्टी टैक्स विभाग द्वारा लगातार सीलिंग अभियान जारी रखा गया। अभियान में भी ड्रामा चलता रहा। जिसके तहत 1.58 करोड रुपए ही टैक्स एकत्रित हो पाया। जबकि पिछले साल अप्रैल माह में 1.39 करोड रुपए टैक्स एकत्रित हुआ था। पिछले 1 महीने में सीलिंग अभियान दौरान विभाग द्वारा किसी भी बड़ी पार्टी को हाथ नहीं डाला गया। सीलिंग अभियान की भी अगर जांच की जाए तो बड़े खुलासे सामने आ सकते हैं।

सचिव को स्क्रुटनी करने की सोंपी थी जिम्मेदारी

निगम कमिश्नर संदीप ऋषि द्वारा प्रॉपर्टी टैक्स विभाग के नोडल अफसर सचिव दलजीत सिंह को विगत 6 अप्रैल को ही प्रतिदिन 10 बड़ी-बड़ी कमर्शियल बिल्डिंगों  की स्क्रुटनी की जिम्मेदारी सौंपी थी। स्क्रुटनी करने के उपरांत रिपोर्ट  निगम कमिश्नर को देने के आदेश जारी किए थे। किंतु इस पर भी मामूली सी ही कार्रवाई हुई है ।

पिछले वित्त वर्ष के 14 चेक भी हुए डिसऑनर

पिछले वित्त वर्ष 2022-23 में विभाग द्वारा जितना टैक्स एकत्रित किया था, उस में से नगर निगम को बैंक से मिले रिकॉर्ड के अनुसार  14 चेक डिसऑनर हो गए हैं। लगभग छह लाख रुपयों की राशि के डिसऑनर हुए चेकों पर अब दोबारा टैक्स वसूलने पर 20% जुर्माना और ब्याज लेकर टैक्स जमा होगा।

नगर निगम का जनरल अकाउंट वित्तीय संकट में

इस वक्त नगर निगम का जनरल अकाउंट वित्तीय संकट में से गुजर रहा है। प्रॉपर्टी टैक्स विभाग से नगर निगम को काफी आस थी। नगर निगम का जनरल अकाउंट वित्तीय संकट में जाने का मुख्य कारण निगम को अप्रैल और मई महीने में चुंगी के एवज में आने वाली करोड़ों रुपयों की जीएसटी की राशि नहीं मिली है।

मीटिंग कॉल करेंगे जवाब तलबी

निगम कमिश्नर संदीप ऋषि ने कहा कि विभाग के अधिकारियों के साथ मीटिंग कर जवाब तलबी की जाएगी। उसके उपरांत ही बनती कार्रवाई होगी।

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